शिर्डी के साँई बाबा जी के दर्शनों का सीधा प्रसारण... अधिक जानने के लियें पूरा पेज अवश्य देखें

शिर्डी से सीधा प्रसारण ,... "श्री साँई बाबा संस्थान, शिर्डी " ... के सौजन्य से... सीधे प्रसारण का समय ... प्रात: काल 4:00 बजे से रात्री 11:15 बजे तक ... सीधे प्रसारण का इस ब्लॉग पर प्रसारण केवल उन्ही साँई भक्तो को ध्यान में रख कर किया जा रहा है जो किसी कारणवश बाबा जी के दर्शन नहीं कर पाते है और वह भक्त उससे अछूता भी नहीं रहना चाहते,... हम इसे अपने ब्लॉग पर किसी व्यव्सायिक मकसद से प्रदर्शित नहीं कर रहे है। ...ॐ साँई राम जी...

Tuesday 25 November 2014

ॐ श्री शुभ साई रात्री

सब दिन न रहे एक समान,
चिंता त्यागो जपो साई  नाम।।

ॐ      साई       राम

Monday 24 November 2014

बाबा साई ::


"यदि तुम श्रध्दापूर्वक मेरे सामने हाथ फैलाओगे तो मैं सदैव तुम्हारे साथ रहुँगा | यद्यपि मैं शरीर से यहाँ हूँ, परन्तु मुझे सात समुद्रों के पार भी घटित होने वाली घटनाओं का ज्ञान है | मैं तुम्हारे हृदय मे विराजित, तुम्हारे अन्तरस्थ ही हूँ | जिसका तुम्हारे तथा समस्त प्राणियों के हृदय में वास है, उसकी ही पूजा करो | धन्य और सौभाग्यशाली वही हैं, जो मेरे सर्वव्यापी स्वरूप से परिचित हैं |"

ॐ साई राम

बाबा साई ::


तुम चाहे कहीं भी रहो जो इच्छा हो सो करो परन्तु यह सदैव स्मरण रखो कि जो कुछ भी तुम करते हो, वह सब मुझे ज्ञात है | मै ही समस्त प्राणियों का प्रभु और घट‍ घट में व्याप्त हूँ | मेरे उदर में समस्त जड़ व चेतन प्राणी समाये हुए हैं | मै ही समस्त ब्रह्मांड का नियंत्रणकर्ता व संचालक हूँ | मै ही उत्पत्ति, स्थिति व संहारकर्ता हूँ | मेरी भक्ति करने वालों को कोई हानि नहीं पहुँचा सकता | मेरे ध्यान की उपेक्षा करने वाला माया के पाश मे फँस जाता है | समस्त जन्तु, चींटियाँ तथा दृश्यमान परिवर्त्तमान और स्थायी विश्व मेरे ही स्वरूप हैं |

ॐ साई राम

Sunday 23 November 2014

बाबा साई ::


"जो, प्रेमपूर्वक मेरा नामस्मरण करेगा, मैं उसकी समस्त इच्छाएं पूर्ण कर दूंगा | उसकी भक्ति मे उत्तरोत्तर वृध्दि होगी | जो मेरे चरित्र और कृत्यों का श्रध्दापूर्वक गायन करेगा उसकी मै हर प्रकार से सहायता करूँगा | जो भक्तगण हृदय और प्राणों से मुझे चाहते हैं, उन्हें मेरी कथाएँ श्रवण करने मे प्रसन्नता होगी | विश्वास रखो कि जो मेरी लीलाओं का कीर्तन करेगा उसे परमानन्द और चिरसंतोष की उपलब्धि हो जाएगी | यह मेरा वैशिष्टय है कि, जो कोई अनन्य भाव से मेरी शरण आता है, जो श्रध्दापूर्वक मेरा पूजन, निरन्तर स्मरण और मेरा ही ध्यान किया करता है, उसको मै मुक्ति प्रदान कर देता हूँ | "

"जो नित्यप्रति मेरा नाम स्मरण और पूजन कर मेरी कथाओं  और लीलाओं का प्रेमपूर्वक मनन करते हैं‍ ऎसे भक्तों में सांसारिक वासनाऐं और अज्ञानरूपी प्रवृत्तियाँ कैसे ठहर सकती हैं ? मैं उन्हें मृत्यु के मुख से बचा लेता हूँ | "

"मेरी कथाएँ श्रवण करने से मुक्ति हो जाएगी | अत: मेरी कथाओं को श्रध्दापूर्वक सुनो, मनन करो | सुख और सन्तोष‍‍‍ प्राप्ति का सरल मार्ग ही यही है | इससे श्रोताओं के चित्त को शांति प्राप्त् होगी, ध्यान प्रगाढ़ और् विश्वास दृढ़ हो जाएगा, तब अखंड चैतन्यघन से अभिन्नता प्राप्त हो जाएगी | केवल 'साई' 'साई' के उच्चारण मात्र से ही उनके समस्त पाप नष्ट हो जाएँगे | "

ॐ   साई    राम