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Thursday, 3 April 2014

थोडा ध्यान लगा साईं दौड़े दौड़े आयेंगे

कृपा की छाया में बिठाएँगे तुझको कहाँ तुम जाओगेउनकी दया दृष्टि जब जब पड़े तुम भवतर जाओगेऐसा है विश्वास मन में सत की ज्योत वो जलाएंगेथोडा ध्यान लगा साईं दौड़े दौड़े आयेंगे

ॐ साईं राम   जय साई राम 




इंसानियत ही पहला धर्मं है इंसान का...
फिर पन्ना खुलता है गीता या कुरान का...


सबका मालिक एक....


बोलिये  साई नाथ महाराज की जय..

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